लचरागढ़ में भव्य द्वादश खेलकूद समारोह: विवेकानंद शिशु विद्या मंदिर में उत्साह और भारतीय संस्कृति का संगम
शंभू कुमार सिंह
Thank you for reading this post, don't forget to subscribe!सिमडेगा जिले के कोलेबिरा प्रखंड स्थित लचरागढ़ में वनवासी कल्याण केंद्र झारखंड की शैक्षिक इकाई श्रीहरि वनवासी विकास समिति द्वारा संचालित विवेकानंद शिशु विद्या मंदिर में द्वादश (12वें) खेलकूद समारोह का भव्य आयोजन किया गया। यह दो दिवसीय कार्यक्रम छात्र-छात्राओं के बीच शारीरिक, मानसिक और सांस्कृतिक विकास को बढ़ावा देने के उद्देश्य से आयोजित किया गया, जिसमें उत्साह, अनुशासन और आदिवासी-भारतीय संस्कृति के रंगों की खूबसूरत झलक देखने को मिली।
समारोह का शुभारंभ मुख्य अतिथि प्रफुल्ल अकांत (क्षेत्रीय संगठन मंत्री) द्वारा किया गया, जबकि विशिष्ट अतिथि के रूप में वनवासी कल्याण केंद्र झारखंड के अध्यक्ष सूदान मुंडा, प्रांत शिक्षा प्रमुख सुभाषचंद्र दुबे, नंदकिशोर अग्रवाल, राजेश अग्रवाल उपस्थित रहे। उद्घाटन सत्र में सरस्वती माता, भारत माता, ओउम्, सरना माता एवं भगवान बिरसा मुंडा की तस्वीरों के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन एवं पुष्पार्चन कर कार्यक्रम की शुरुआत हुई।
विद्यालय के भैया-बहनों ने स्वागत गीत के माध्यम से अतिथियों का हार्दिक स्वागत किया। इसके बाद सरहुल पूजा को दर्शाते हुए एक मनमोहक नृत्य प्रस्तुति दी गई, जो स्थानीय आदिवासी परंपराओं की जीवंतता को उजागर करती रही। इसी क्रम में छठ पूजा की महिमा पर आधारित एक शानदार सांस्कृतिक प्रदर्शन ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया, जो झारखंड की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का प्रतीक बना।
मुख्य अतिथि प्रफुल्ल अकांत ने अपने संबोधन में छात्र-छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा, “आज के भैया-बहनों को केवल पढ़ाई में ही नहीं, बल्कि जीवन के हर क्षेत्र में मेरिट बनाना आवश्यक है। खिलाड़ी सदैव निःस्वार्थ भाव से कार्य करते हैं और टीम तथा देश को सर्वोपरि रखते हैं।” उन्होंने खेलकूद को शारीरिक विकास का माध्यम बताते हुए युवाओं से अनुशासन और समर्पण की सीख लेने का आह्वान किया।
विशिष्ट अतिथि सूदान मुंडा ने सरस्वती शिशु मंदिर परिवार के खेल आयोजनों की सराहना करते हुए कहा, “सरस्वती शिशु मंदिर परिवार के खेल आयोजनों में सदैव भारतीय संस्कृति की झलक स्पष्ट रूप से दिखाई देती है।” उन्होंने आदिवासी समुदाय के बच्चों को मुख्यधारा से जोड़ने में ऐसे कार्यक्रमों की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया।
उद्घाटन के बाद किशोर वर्ग के भैया-बहनों के बीच 200 मीटर दौड़ के हीट्स आयोजित किए गए। इसके पश्चात् गोला फेंक, चक्का फेंक, ऊंची कूद, लंबी कूद, भाला फेंक सहित विभिन्न एथलेटिक्स इवेंट्स जारी रहे। सभी प्रतियोगिताएं प्रांतीय खेलकूद प्रमुख डोमन चंद्र महतो के नेतृत्व में विभिन्न विद्यालयों से आए खेल प्रभारियों और आचार्यों द्वारा संचालित की जा रही हैं। छात्र-छात्राओं ने उत्कृष्ट प्रदर्शन कर सभी का मन मोह लिया, जो समग्र विकास का प्रमाण था।
कार्यक्रम में वनवासी कल्याण केंद्र झारखंड के हित रक्षा प्रमुख राजेंद्र बड़ाईक, रिकी अग्रवाल, सुरेश द्विवेदी, प्रवीण साहू, गोपाल साहू, संजय ठाकुर, जनकु सिंह, राजकुमार साहू, बिहारी पंडा तथा आनंद कोठारी सहित अनेक गणमान्य अतिथि उपस्थित रहे। वातावरण उत्साहपूर्ण रहा, जहां हर तरफ भारतीय संस्कृति के रंग उमड़ पड़े।
यह दो दिवसीय समारोह कल (1 नवंबर 2025) भी जारी रहेगा, जिसमें और अधिक खेल इवेंट्स और सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। श्रीहरि वनवासी विकास समिति के इस प्रयास से न केवल शारीरिक विकास हो रहा है, बल्कि आदिवासी बच्चों में आत्मविश्वास और सांस्कृतिक जागरूकता भी बढ़ रही है। वनवासी कल्याण केंद्र झारखंड ने इस आयोजन को आदिवासी समुदाय के उत्थान की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया है।



