मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने डोंबारी बुरु गोलीकांड के अमर वीर शहीदों की शहादत को नमन किया।
रांची . मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन (hemant soren) ने डोंबारी बुरु गोलीकांड के अमर वीर शहीदों की शहादत को नमन किया। मुख्यमंत्री ने कहा डोंबारी बुरु गोलीकांड इतिहास के पन्नों की एक विभत्स घटना है। झारखण्डी अस्मिता और जल-जंगल-जमीन की रक्षा के लिए अंग्रेज़ शोषकों से लड़ाई लड़ते हुए झारखण्डी माटी के हमारे असंख्य वीर पुरुखों ने बलिदान दिया था।
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इतिहास के पन्नो के मुताबिक 9 जनवरी 1899 को अंग्रेजों ने खूंटी जिले के डोम्बारी बुरु ( मुंडारी में बुरु का अर्थ पहाड़ होता है) में निर्दोष लोगों को चारों तरफ से घेर कर गोलियों से भून दिया था. डोम्बारी बुरु में भगवान बिरसा मुंडा (birsa munda) अपने कुछ अनुयाइयों के साथ सभा कर रहे थे. सभा में आस-पास के दर्जनों गांव के लोग भी शामिल थे. बिरसा मुंडा जल-जंगल- जमीन बचाने के लिए लोगों में उलगुलान की बिगुल फूंक रहे थे.अंग्रेज को बिरसा की इस सभा की खबर हुई और डोम्बारी पहाड़ को चारों तरफ से घेर लिया. जब अंग्रेजों ने बिरसा को हथियार डालने के लिए ललकारा, तो बिरसा और उनके समर्थकों ने हथियार डालने की बजाय शहीद होना उचित समझा.अंग्रेज सैनिक मुंडा लोगों पर कहर बनकर टूटे. बिरसा ने भी अंग्रेजों का जमकर सामना किया, लेकिन इस संघर्ष में सैकड़ों लोग शहीद हो गये. हालांकि, बिरसा मुंडा अंग्रेजों को चकमा देकर वहां से निकलने में सफल रहे. नरसंहार में शहीद हुए अमर स्वतंत्रता सेनानियों को शत शत नमन