बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती: राज्यपाल, सीएम और कल्पना सोरेन ने रांची में दी श्रद्धांजलि
रांची : झारखंड के आदिवासी समाज के महान नेता और स्वतंत्रता सेनानी धरती आबा बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती पर रांची के कोकर स्थित उनके समाधि स्थल पर श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। इस अवसर पर राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और विधायक कल्पना सोरेन ने पुष्पांजलि अर्पित कर उन्हें याद किया।
Thank you for reading this post, don't forget to subscribe!राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार और मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने बिरसा मुंडा को आदिवासी समाज की आशा, संघर्ष और प्रेरणा का प्रतीक बताया। उन्होंने कहा कि बिरसा मुंडा के आदर्श आज भी युवाओं के लिए मार्गदर्शक हैं और समाज को उनके बताए रास्ते पर चलना चाहिए। दोनों नेताओं ने उनके बलिदान और आदिवासी अधिकारों के लिए किए गए संघर्ष को याद करते हुए कहा कि उनकी विरासत झारखंड की पहचान का अभिन्न अंग है।
विधायक कल्पना सोरेन ने अपने संबोधन में कहा कि बिरसा मुंडा का जीवन आदिवासी समुदाय के उत्थान, सामाजिक न्याय और स्वाभिमान की लड़ाई का प्रतीक रहा है। उन्होंने युवाओं से अपील की कि मुंडा के सिद्धांतों को अपनाकर समाज को मजबूत बनाएं।
इस कार्यक्रम में कई वरिष्ठ अधिकारी, जनप्रतिनिधि और आम नागरिक बड़ी संख्या में उपस्थित रहे। समाधि स्थल पर फूलों की मालाएं चढ़ाई गईं और बिरसा मुंडा के गीत गाए गए। आयोजन में आदिवासी संस्कृति की झलकियां भी देखने को मिलीं।
बिरसा मुंडा (1875-1900) ने ब्रिटिश शासन के खिलाफ ‘उलगुलान’ आंदोलन का नेतृत्व किया था, जिसने आदिवासी अधिकारों और भूमि संरक्षण की लड़ाई को नई दिशा दी। उनकी जयंती को झारखंड में ‘जनजातीय गौरव दिवस’ के रूप में मनाया जाता है।






