झारखंड: अभिभावक संघ ने निजी स्कूलों की मनमानी पर प्रशासनिक कमिटी का स्वागत किया, सख्त कार्रवाई की मांग”
अभिभावक संघ झारखंड के अध्यक्ष कैलाश यादव ने आज 28 मार्च को निजी स्कूलों की मनमानी के खिलाफ राज्य सरकार द्वारा प्रशासनिक कमिटी गठन की घोषणा का स्वागत किया है। उन्होंने इस कदम को सकारात्मक बताते हुए सरकार से कुछ अतिरिक्त मांगें भी रखी हैं।
यादव ने अपने प्रेस को दिए बयान में कहा कि निजी स्कूलों द्वारा री-एडमिशन शुल्क और वार्षिक शुल्क जैसे अतिरिक्त शुल्कों पर अंकुश लगाने के लिए प्रशासनिक कमिटी का गठन एक स्वागतयोग्य कदम है। हालांकि, उन्होंने जोर देकर कहा कि स्कूल परिसर में यूनिफॉर्म और कॉपी-किताब बेचने की प्रथा पर भी सख्त रोक लगनी चाहिए। उनका मानना है कि यह अभिभावकों पर अनावश्यक आर्थिक बोझ डालता है और इसे तत्काल रोका जाना चाहिए।
उन्होंने सुझाव दिया कि प्रशासनिक कमिटी को निजी स्कूलों पर 2.50 लाख रुपये तक का जुर्माना लगाने का अधिकार तो होना चाहिए, लेकिन इसके साथ ही यूनिफॉर्म और कॉपी-किताब बेचने पर भी प्रतिबंध और जुर्माने का प्रावधान शामिल किया जाए। इसके अलावा, यदि कोई स्कूल कमिटी के आदेशों का पालन नहीं करता और अभिभावकों से शिकायतें मिलती हैं, तो ऐसी स्थिति में स्कूलों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करते हुए उनकी मान्यता रद्द करने का प्रावधान होना चाहिए।
यादव ने यह भी घोषणा की कि सरहुल और ईद त्योहारों के बाद अभिभावक संघ झारखंड का एक प्रतिनिधिमंडल राज्य के शिक्षा मंत्री रामदास सोरेन से मिलेगा। इस मुलाकात में वे अपनी मांगों और सुझावों को विस्तार से रखेंगे, ताकि निजी स्कूलों की मनमानी पर प्रभावी रोक लग सके और अभिभावकों को राहत मिले।