परिवहन विभाग के कर्मियों ने वाहन चालक , सहचालक से की मारपीट एवं गाली गलौज
परिवहन विभाग के कर्मियों ने वाहन चालक , सहचालक से की मारपीट एवं गाली गलौज

गाड़ी के कागजात सही पाए जाने के बावजूद घण्टो वाहन को खड़ा किया , गुस्से में वहां के कागजात फेंके और चलते बने
सिमडेगा: सिमडेगा जिले में परिवहन एक बार फिर अपने कारनामे को लेकर चर्चा में है।इस बार वाहन के कागजात सही पाए जाने पर वाहन के चालक एवं सह चालक के साथ मारपीट एवं गली गलौज करने का मामला आया है।इस संबंध में खबर लिखे जाने तक वाहन चालक दीपक कुमार के द्वारा सदर थाने में मामला दर्ज कराने की बात कही गई। मिली जानकारी के अनुसार ओ डी 14 B 5488 ट्रेलर वाहन जमशेदपुर से ईटा लोड कर राउरकेला की ओर जा रहा था। इस इस क्रम में परिवहन विभाग सिमडेगा के द्वारा जो राम में वाहन जांच अभियान चल रहा था वाहन जांच कर रहे अधिकारी एमभीआई प्रकाश रंजन, ऑपरेटर सिद्धार्थ राज द्वारा उक्त वाहन को भी रोक कर वहां के कागजात की जांच की गई वाहन चालक के अनुसार वहां के सभी कागजात सही थे एवं गाड़ी अंडर लोड थी उसके बावजूद परिवहन विभाग के अधिकारियों ने वहां में ओवरलोड माल होने की बात कह कर 3 घंटे तक गाड़ी को खड़ा कर दिया गया इस बीच वहान के सह चालक से अधिकारियों द्वारा रुपया मांगने एवं मारपीट और गाली गलौज की बात कही गई इस पर वाहन चालक ने कहा कि आप गाड़ी का पूर्ण कांटा करवा सकते हैं हम पैसे नहीं देंगे इस बात पर परिवहन विभाग के अधिकारियों ने वहां को जिला मुख्यालय स्थित बाजार समिति के पवन कांटा में लाया गया जहां वजन करने पर गाड़ी अंडर लोड पाई गई। गाड़ी के अंडर लोड पाए जाने पर अधिकारी पुनः गाड़ी का वजन करने बात कही एवं गुस्से में आकर वाहन चालक डांटते हुए गाड़ी के सभी कागजात फेंक कर चलते बने।
विदित हो कि सिमडेगा जिला परिवहन विभाग द्वारा बार-बार अवैध वसूली के मामले सामने आते रहे हैं , विभाग द्वारा बाहरी व्यक्ति पर कार्रवाई कर मामले की लीपा पोती कर दी जाती है। पूर्व में भी विभाग के कई कर्मी के अवैध वसूली में लिप्त होने से संबंधित मामले सामने आये हैं। यहां तक की वीडियो में साफतौर पर पैसे लेते हुए देखा गया है। जो वर्तमान परिवहन विभाग में कार्यरत हैं। जिन पर विभाग की ओर से अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गई। यहां तक की जांच तक परिवहन विभाग जरूरी नहीं समझता है। यूं कहें तो विभाग मामले को दबाने और अवैध वसूली से ध्यान भटकाने के लिए बाहरी युवक के विरूद्ध थाना में लिखित आवेदन देकर सारा ठिकरा फोड़ दिया जाता है।