इंटक के राष्ट्रीय अध्यक्ष केएन त्रिपाठी ने विस्थापित, प्रभावित एवं असंगठित मजदूरों के साथ की बैठक.
खलारी : पुर्व मंत्री सह इंटक के राष्ट्रीय अध्यक्ष केएन त्रिपाठी ने मंगलवार को डकरा स्थित वीआईपी सभागार में एनके एरिया, पिपरवार, मगध, आम्रपाली क्षेत्र के विस्थापित, प्रभावित एवं असंगठित मजदूरों की समस्याओं को लेकर सभी क्षेत्र के जीएम के साथ अलग अलग बैठक कर समाधान कराने को लेकर चर्चा किया। बैठक में सभी क्षेत्र के विस्थापित, प्रभावित ग्रामीण एवं असंगठित मजदूर शामिल हुए। बैठक के दौरान विस्थापितों के द्वारा जमीन अधिग्रहण के बाद सीसीएल के द्वारा समय मुआवजा और नौकरी नही देने के साथ विस्थापन नीति के तहत मिलने वाली सुविधाओं को सीसीएल प्रबंधन के द्वारा नही दिए जाने की बात कही गयी।
वहीं सीसीएल खनन से प्रभावित ग्रामीणों ने भी अपनी समस्याओं को बैठक में रखा। जिसमें पेयजल की समस्या, स्वास्थ्य, शिक्षा, सड़क, रोजगार सहित अन्य सुविधाओं को देने की बात कही। वहीं हैवी ब्लास्टिंग से घरों को हो रहे नुकसान की बात को भी प्रभावित ग्रामीणों ने रखा। ग्रामीणों की ओर से कहा गया कि सीसीएल सिर्फ अपना कोयला खनन कार्य को देखती है उन्हे क्षेत्र के विकास और विस्थापित प्रभावित ग्रामीणों की समस्याओं के समाधान करने के प्रति कोई भी मंशा नही है। बैठक में सीसीएल क्षेत्र में कार्यरत निजी आउटसोर्सिंग कंपनियों में काम करने वाले असंगठित कामगारों ने भी अपनी विभिन्न समस्याओं को रखा।
कामगारों ने बताया कि कंपनियां उनका शोषण कर रही है। असंगठित मजदूरों ने सीएमपीएफ की समस्या से अवगत कराया। वहीं कहा कि उन्हे उनका सीएमपीएफ खाते की पुरी जानकारी उपलब्ध नही कराया गया। साथ ही सीएमपीएफ के लिए काटा गया पैसा का भी कोई ब्योरा उनके पास नही है। इधर बैठक में एनके एरिया जीएम संजय कुमार ने अपने क्षेत्र में किए गए कार्यों की जानकारी दी। उन्होने बताया कि सीएसआर के 2 करोड़ 50 लाख फण्ड को विभिन्न कार्यों में 2020-21 वर्ष में किया गया। जिसमें कोविड काल में क्षेत्र में 20 लाख राशि खर्च किया गया। वहीं इसी फण्ड से 11 डीप बोरिंग, राशन वितरण, पेयजल समाधान, शौचालय निर्माण, सोलर लैम्प, ट्राई सायकिल, सिलाई मशीन का वितरण करने सहित पार्क का निर्माण कराया जा रहा है।
वहीं बैठक में इंटक के राश्ट्रीय अध्यक्ष केएन त्रिपाठी ने विस्थोपितों, प्रभावितों एवं असंगठित मजदूरों की समस्याओं से अवगत होने के बाद सभी क्षेत्र के जीएम से समाधान को लेकर चर्चा किया। उन्होने कहा कि सीएसआर के फण्ड को बढ़ाने की आवयष्कता है। क्योकि जिस क्षेत्र से कोयला उत्पादन कर सीसीएल लाभ कमा रही है, वहां के आम जनता एवं ग्रामीणों की स्थिती बहुत ही दयनीय है। कहा कि कंपनियों को लाभ का 10 प्रतिशत खर्च उसी क्षेत्र में करना है जहां से उत्पादन हो। लेकिन यह पैसा झारखण्ड के जिलों में न खर्च कर के केन्द्र सरकार दूसरी जगहों पर खर्च कर रही है जो कि नियमसंगत नही है। सीसीएल प्रबंधन अपने कोयला उत्पादन क्षेत्र में विस्थपितों, प्रभावितों एवं असंगठित मजदूरों के प्रति कोई भी जवाबदेही को नही समझ रही है। वहीं इन क्षेत्रों में निजी कंपनियां मनमाने ढंग से मजदूरों का शोषण कर रही है। क्षेत्र प्रदुषण की मार झेल रहा है जिससे की लोगों के स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ रहा है।
उन्होने सीसीएल प्रबंधन से जल्द से जल्द सभी समस्याओं पर त्वरित एक्शन लेते हुए समाधान करने की बात कही। साथ ही कहा कि जल्द ही क्षेत्र की समस्याओं के समाधान कराने को लेकर वह सीसीएल सीएमडी से भी मिलेंगे। बैठक में एनके एरिया जीएम संजय कुमार, पिपरवार जीएम अजय कुमार सिंह, मगध जीएम केके सिन्हा, पीएण्डपी एनके एरिया राजेंद्र प्रसाद, सीएसआर अधिकारी शशि सिंह के अलावा यूथ इंटक प्रदेश अध्यक्ष कुमार रौशन, असंगठित मजदूर संघ यूनियन इंटक प्रदेश अध्यक्ष प्रदीप कुमार सिंह, इंटक प्रदेश महासचिव दीपक ओझा, महेश साव आदि उपस्थित थे।
खलारी, मो मुमताज़