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भाकपा-माले ने कामरेड महेंद्र सिंह और आज ही दिवंगत उनकी पत्नी शांति देवी को बरकाकाना में श्रद्धांजलि दी और संकल्प पाठ किया गया (Mahendra Singh Martyrdom Day)

आकाश /अशोक
रामगढ़।
कामरेड महेंद्र सिंह शहादत दिवस (Mahendra Singh Martyrdom Day)के अवसर पर भाकपा माले रामगढ़ जिला कमेटी के नेतृत्व में श्रधांजलि सभा का आयोजन किया गया। महेंद्र सिंह विधायक के द्वारा 14 फरवरी 2001 ई.को मानकुंवर बेदिया की स्मृति में बाजार की स्थापना की गई थी।उक्त स्थल पर आजकार्यक्रम आयोजित किया गया। बरकाकाना बुध बाजार मैदान में महिला-पुरुष, बच्चें सैकड़ों की संख्या में एकत्रित हुए। सर्वप्रथम भाकपा माले के कामरेड राजेंद्र राम ने झंडा तोलन किया । इस दौरान जिला सचिव-भुनेश्वर बेदिया, हीरा गोप, देवकीनंदन बेदिया और मासस के निरंजन पटेल, अर्जुन सिंह ने महेंद्र सिंह के चित्र पर माल्यार्पण किए । मौके पर उपस्थित भाकपा माले के देवानंद गोप, नरेश बडाईक, नीता बेदिया, अमल कुमार, बिगेंद्र ठाकुर, सरयू बेदिया, सरजू मुंडा,जयनंदन गोप, लालचंद ठाकुर, तृतियाल बेदिया, राजेंद्र बेदिया, बृजनारायण मुंडा,भोला महतो, रोजन महतो, रामप्रसाद महतो, पहलू करमाली, उमेश गोप, कमल बेदिया, बहादूर बेदिया, देवकी बेदिया, गोपी बेदिया, सरिता देवी, सीता देवी, राजभुनी देवी, सुलोचनी देवी,
लक्ष्मी कुमारी, राखी कुमारी आदी उपस्थित थे। श्रधांजलि सभा में सभी ने पुष्पांजलि अर्पित कर एक मिनट का श्रद्धांजलि दिए। संकल्प पत्र का पाठ किया गया।
16 जनवरी 2022 जनसंकल्प दिवस पर लिए गए संकल्प
1. हम उत्तर प्रदेश, पंजाब, उत्तराखंड, गोवा और मणिपुर के आगामी चुनावों में वहां की जनता से अपील करते हैं कि वे सर्वनाशी भाजपा को एक भी सीट जीतने न दें ताकि इस देश की कॉरपोरेटी-संघी फासीवादी तबाही की साजिश को नाकाम किया जा सके.
2. हम मोदी सरकार की जनविरोधी, मजदूर विरोधी और देश विरोधी नीतियों के खिलाफ आगामी 23-24 फरवरी को घोषित देश व्यापी हड़ताल का पुरजोर समर्थन करते हैं और इसे सफल करने के लिए सड़कों पर उतरने की घोषणा करते हैं.
3. फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य के लिए कानून, मजदूर विरोधी श्रमकोड की वापसी, आफस्पा की वापसी और यूएपीए, देशद्रोह एवं अन्य झूठे मुकदमों में गिरफ्तार मानवाधिकार कार्यकर्ताओं एवं राजनीतिक आंदोलनकारियों की अविलंब रिहाई के लिए चल रहे हम आंदोलनों के साथ खड़े हैं और इन्हें मजबूत करने के लिए आगे बढ़ेंगे. राज्य में जारी मॉब लींचिंग और पुलिसिया दमन का हम विरोध करते हैं और हेमंत सरकार इन पर सख्ती से लगाम लगाए.
4. झारखंड में रोजगार के लिए तमाम रिक्तियों को भरने और नियुक्तियां शुरू करने की हम मांग करते हैं. हम झारखंडियों के हित में हेमंत सरकार से नयी स्थानीय नीति और युवा नीति की घोषणा करने की मांग करते हैं. इन मुद्दों को लेकर हम विधानसभा सत्र में राज्यव्यापी आंदोलन करेंगे.
5. ‘सरकार आपके द्वार’ कार्यक्रम में प्राप्त आवेदनों का सरकार द्वारा त्वरित निष्पादन किया जाय और इसे सार्वजनिक किया जाय. जन वितरण प्रणाली में व्याप्त भ्रष्टाचार और जनता के अनाज के गबन का हम पुरजोर विरोध करते हैं और इसके लिए हम जिला स्तरों पर आंदोलन तेज करेंगे. खाता धारकों की जमीन का सरकार बिना भ्रष्टाचार के ऑनलाइन में जारी कर रसीद निर्गत करे और गैरमजरुआ जमीन का रसीद काटना चालू करे.
6. हम मोदी सरकार द्वारा सार्वजनिक उद्योग, सेवा और अधिसंरचनात्मक संपत्तियों को मौद्रीकरण के नाम बेचने की घोषणा का पुरजोर विरोध करते हैं. हम झारखंड सरकार से मांग करते हैं कि वह झारखंड के हित में केंद्र सरकार की इस नीति का विरोध करे. इस नीति के विरोध में हम अपने संघर्षों को तेज करेंगे.
7. हम पारा शिक्षक समेत तमाम अनुबंधकर्मियों के स्थायीकरण और उचित वेतनमान की मांगों का समर्थन करते हैं. हम सरकारी विद्यालय में कार्यरत रसोइयों के आंदोलन का समर्थन करते हैं. हम सहिया और स्वास्थ्य सहिया की मांगों जायज समझते हैं. हम सरकार से मांग करते हैं कि अनुबंधकर्मियों की मांगों के अनुरूप कदम उठाकर इसकी घोषणा करे. हम इसके लिए अपना आंदोलनात्मक जोर बढ़ाएंगे.
8. जल, जंगल और जमीन पर अपने अधिकारों के लिए चल रहे आदिवासी आंदोलनों का हम समर्थन करते हैं और उन पर कॉरपोरेट प्रायोजित सरकारी एवं निहित स्वार्थी तत्वों के हमलों का विरोध करते हैं. हम राज्य में संविधान की पांचवीं अनुसूची को सख्ती से लागू करने की मांग करते हैं. हम खूंटी समेत तमाम जिलों में ड्रोन सर्वे का विरोध करते हैं और प्रोपर्टी कार्ड योजना को वापस लेने की मांग करते हैं और इसके लिए व्यापक आंदोलन करेंगे.
9. झारखंड में मजदूरों की असुरक्षा और उनपर हमले बढ़े हैं. इन घटनाओं के प्रति सरकार की उदासीनता का हम विरोध करते हैं. हम गिरिडीह के मुंद्रा राइस मिल मजदूर आंदोलन, कोडरमा के केटीपीएस आंदोलन, बाघमारा एवं चिरकुंडा के लोडिंग मजदूर आंदोलन में मजदूर नेताओं पर लादे गए झूठे मुकदमों की वापसी की मांग करते हैं और मजदूरों के हितों की रक्षा में हम मजदूर आंदोलन को तेज करेंगे.
10. केंद्र सरकार नई शिक्षा नीति वापस ले. राज्य सरकार और केंद्र सरकार शिक्षण संस्थानों को खोलने की व्यवस्था करे. 50 प्रतिशत छात्रों का बारी-बारी से शिक्षण संस्थानों में फिजिकल क्लास शूरू करो।
अंत में भाकपा-माले, पतरातू प्रखंड के बीचा पंचायत के मुखिया महेश बेदिया की हत्या जिला स्वास्थ्य विभाग के द्वारा की जा रही भ्रष्टाचार का परिणाम है। इसलिए इसकी उच्च स्तरीय जांच कर हत्या के सारे कारणों का उद्भेदन किया जाए और दोषी समस्त व्यक्तियों व हत्यारों को गिरफ्तारी करे तथा उन पर कार्रवाई करें तथा मृतक के परिवारों को मुआवजा बीस लाख रुपए, नौकरी अन्य सुविधा देने की मांग करती है।

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