लघु कुटीर उद्योग से स्वयं सहायता समूह की दीदियों को जोड़कर सशक्त बनाने का किया जा रहा है कार्य : उपायुक्त.
देवघर : उपायुक्त सह जिला दंडाधिकारी श्री मंजूनाथ भजंत्री द्वारा देवघर प्रखण्ड के नौखिल गांव का निरीक्षण कर लघु कुटीर उद्योग के तहत मशीनों की मदद से बांस से बनाये जाने वाले विभिन्न सामग्रियों यथा अगरबती बनाने हेतु स्टीक, विभिन्न साज सज्जा व अन्य आवश्यक सामग्रियों को बनाने की प्रक्रिया एवं खर्च व होने वाले फायदों से अवगत हुए। इस दौरान लघु कुटीर उद्योग से जुडे़ हुए लोगों से उपायुक्त ने मुलाकात कर उनके द्वारा किये जा रहे कार्यों की जानकारी लेते हुए उन्हें काम करने में आने वाली समस्याओं से अवगत हुए। साथ हीं उनके द्वारा बनायी जा रही बांसों की सामग्री, पतल के दोना, विभिन्न प्रकार के थाली को देखकर उपायुक्त ने की सराहना करते हुए कहा कि आप सभी का यह प्रयास आने वाले दिनों में देवघर जिला को एक नयी पहचान दिलाने का काम कर रही है, जो कि हम सभी के लिए गर्व की बात है।
इसके अलावे निरीक्षण के क्रम में उपायुक्त ने लघु कुटीर उद्योग से जुड़े लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि 10 मार्च, 2021 से मंदिर प्रांगण को थर्मोकाॅल मुक्त क्षेत्र घोषित किया गया है एवं आगामी 10 अप्रैल से शहरी क्षेत्र को प्लास्टिक मुक्त बनाने की शुरूआत की जायेगी। ऐसे में आप सभी के सहयोग से थर्मोकाॅल व प्लास्टिक के जगह पत्तों के बने प्लेट, थाली, दोना आदि का उपयोग बढ़ जायेगा जिसके बाद आप सबों को जिले में ही देवघर मार्ट के माध्यम से बेहतर बाजार भी जिला प्रशासन द्वारा उपलब्ध करा दिया जायेगा। इस दौरान उपायुक्त ने जेएसएलपीएस के अधिकारियेां को निदेशित किया कि जिले में इस रोजगार को बढ़ावा देने के उद्देश्य से स्वयं सहायता समूह की दीदियों को जोड़ने का कार्य करें, ताकि प्रत्येक प्रखण्ड की दीदियों को इससे जोड़ा जा सके। साथ हीं बांस से बनने वाले सामग्रियों व अगरबती स्टीक आदि को बाबा मंदिर से जोड़ते हुए बेहतर बाजार उपलब्ध कराया जा सकता है। इसके अलावे उपायुक्त ने निरीक्षण के क्रम में जेएसएलपीएस की टीम को निदेशित किया कि स्वयं सहायता समूह की दीदियों को सशक्त और आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में और भी बेहतर कार्य योजना तैयार करें, ताकि सभी समूह की दीदियों को और भी बेहतर विकल्प दिया जा सके।
लघु कुटीर उद्योग के माध्यम से लोगों सशक्त करना हमारी प्राथमिकता : उपायुक्त श्री मंजूनाथ भजंत्री
इसके अलावे उपायुक्त श्री मंजनाथ भजंत्री ने जेएसएलपीएस के अधिकारियों को निदेशित किया कि वर्तमान में बांस से बनने वाले सामग्रियों के अलावा थर्मोकाॅल व प्लास्टिक मुक्त बनाने की दिशा में वैकल्पिक व्यवस्थाओं सुदृढ़ करने के उदेश्य से ज्यादा से ज्यादा सखी मंडल की दीदीयों को इससे जोड़ा जाय। इससे रोजगार के नये अवसर पैदा होगें एवं उनके आय के स्त्रोत में वृद्धि आयेगी। साथ हीं प्लास्टिक प्रदूषण को रोकने के उद्देश्य से इन पत्तों से बने पत्तल, दोना, प्लेट का उपयोग भी पर्यावरण के लिए बेहतर रहेगा। एक तरफ जहां प्लास्टिक के मुकाबले इससे पैसे की बचत होगी, वहीं दूसरी ओर इन पत्तलों के निष्पादन में आसानी भी हो रही है।
इस दौरान उपरोक्त के अलावे जिला जनसम्पर्क पदाधिकारी श्री रवि कुमार, डीपीएम जेएसएलपीएस श्री प्रकाश रंजन, सहायक जनसम्पर्क पदाधिकारी रोहित कुमार विद्यार्थी एवं संबंधित विभाग के अधिकारी आदि उपस्थित थे।