हाई कोर्ट ने सीबीआई को लगाई फटकार कहा बाबुओ की तरह काम कर रही है सीबीआई,29 अक्टूबर को सीबीआई निदेशक को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उपस्थित होने का निर्देश

हाई कोर्ट ने सीबीआई को लगाई फटकार कहा बाबुओ की तरह काम कर रही है सीबीआई,29 अक्टूबर को सीबीआई निदेशक को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उपस्थित होने का निर्देश ।

अनुशील ओझा रांची,धनबाद के जज उत्तम आनंद की संदिग्ध हालात मौत के मामले (Judge Uttam Anand Death Case) में रांची हाई कोर्ट (Ranchi High Court) में आज 22 अक्तूबर को सुनवाई हुई. जिसमे कोर्ट ने केंद्रीय जांच ब्यूरो सीबीआई की दायर चार्जशीट पर नाराजगी जताई है. सीबीआई को फटकारते हुए कोर्ट ने मौखिक टिप्पणी करते हुए जांच एजेंसी की चार्जशीट को स्टीरियो टाइप बताया है. कोर्ट ने सवाल उठाया है कि चार्जशीट में हत्या की धारा का कोई पुख्ता सबूत ही नहीं है. हाई कोर्ट ने चार्जशीट के मोटिव को गलत करार देते हुए ऐसा कहा है कि सीबीआई “बाबुओं की तरह काम कर रही है”. हाई कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई 29 अक्टूबर को दी है,जिसमें सीबीआई निदेशक को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उपस्थित होने का निर्देश दिया है.बताते चले की सीबीआई ने बहुचर्चित धनबाद के न्यायाधीश उत्तम आनंद की संदिग्ध परिस्थि में मौत के मामले में 20 अक्टूबर को दो अभियुक्तों के खिलाफ सीबीआई ने आरोप पत्र दाखिल किया है.जो आरोप पत्र दाखिल किया गया है उनमें जज को जानबूझ कर धक्का मारने वाले ऑटो चालक लखन वर्मा और उसका साथी राहुल वर्मा का नाम शामिल हैं. जो अभी न्यायिक हिरासत में धनबाद जेल में बंद हैं.
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ज्ञात हो कि 28 जुलाई, 2021 को धनबाद के रणधीर वर्मा चौक के सामने एसएसएलएनटी रोड की तरफ जज उत्तम आनंद मॉर्निंग वॉक के लिए निकले थे,और उसी दौरान ऑटो चालक ने धक्का मार दिया था. जिसके बाद जज उत्तम आनंद की मृत्यु हो गई थी. धक्का मारने की सीसीटीवी फुटेज से पता चला कि जानबूझकर धक्का मारा गया है. जिसके बाद पूरे मामले की छान बीन के लिए झारखंड हाई कोर्ट ने सीबीआई को मामला सौंप दिया था.
जज की मौत की छानबीन सीबीआई कर रही है. जिसकी समीक्षा सीबीआई हर सप्ताह रांची हाई कोर्ट को करता है. तकरीबन तीन महीने का समय निकल चुका है और अब तक साजिश का पता नहीं चल सका है. सीबीआई साजिश का पता लगाने में खबर लिखे जाने के वक्त तक भी जुटी हुई है.
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गौरतलब है की 28 जुलाई को जज उत्तम आनंद के मौत के अगले ही दिन ऑटो ड्राइवर लखन और राहुल को पुलिस प्रशासन ने गिरफ्तार कर लिया था. खैर,90 दिन के अंदर यदि सीबीआई आरोप पत्र दाखिल नहीं करती है तो दोनों को जमानत मिल सकती है. कयश लगाया जा रहा है कि सीबीआई ने इसी मामले के मद्देनजर धनबाद में स्थित विशेष कोर्ट को आरोप पत्र दाखिल किया है.
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