Patna News:-अनिल साह की मौत के बाद इलाके की दुकानें बंद:पटना सिटी के SDM ने कहा- हर एक पॉइंट पर होगी पूरी घटना की जांच
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Drishti Now Ranchi
पटना सिटी के गुलजारबाग गुमटी के पास गुरुवार को रेलवे की जमीन से अतिक्रमण हटाने के दौरान एक दर्दनाक घटना हुई थी। भवानी ट्रेडर्स के मालिक अनिल साह ने अपनी दुकान तोड़ने पहुंचे मजिस्ट्रेट और रेलवे पुलिस की टीम की कार्रवाई का विरोध करते हुए खुद को आग लगा लिया था।
दुकानदार अनिल साह की हुई थी मौत
इस घटना में इलाज के दरम्यान देर रात अनिल साह की मौत हो गई। इस घटना ने जिला प्रशासन से लेकर रेलवे तक को हिला दिया है। शुक्रवार को पटना सिटी के SDM मुकेश रंजन और SDPO अमित रंजन खुद अनिल साह के घर पहुंचे। पीड़ित परिवार से मिले। इसके बाद SDM ने कहा कि इस घटना की जांच पूरी गहनता से होगी। घटना के बाद से प्रशासन के अधिकारियों का फोकस सबसे पहले अनिल और बाकी तीन घायलों के इलाज पर था। मगर, अनिल की मौत हो गई।
दोषी के खिलाफ कार्रवाई का भरोसा
अगमकुआं थाना की पुलिस ने अनिल साह के परिवार का फर्द बयान लिया था। उसी आधार पर इस मामले में FIR दर्ज होगी। हर एक पॉइंट पर इस पूरे मामले की जांच होगी। जो भी दोषी होंगे, उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। अनिल साह के परिवार को और सभी घायलों को सरकारी सहायता की राशि उपलब्ध कराई जाएगी।
बंद है इलाके की हर एक दुकान
हॉस्पिटल से अनिल साह की लाश दुकान से ही कुछ दूर पर स्थित घर पर लाई गई। पत्नी समेत परिवार के सभी सदस्यों का हाल रो-रो कर बुरा हो चुका था। इलाके के लोग भी अनिल साह की मौत से गम में डूबे हैं। आज इलाके की हर एक दुकान बंद है। अपनी दुकानों को बन्द कर दुकानदार कल हुई दर्दनाक घटना का विरोध कर रहे हैं।
इस कारण गुलजारबाग गुमटी और इसके आसपास के हर एक छोटी-बड़ी दुकान बन्द है। वहीं, जिला प्रशासन और आलमगंज थाना की पुलिस टीम ने अपनी मौजूदगी में अनिल की लाश को पोस्टमार्टम के लिए NMC भेजा। इसके बाद से इलाके में सन्नाटा पसरा हुआ है।
रेलवे का दावा- उनकी जमीन पर दुकानें
दरअसल, गुलजारबाग स्टेशन से पूरब में गुमटी है। इसी बीच में 5-6 दुकानें हैं। जो पिछले कई सालों से है। रेलवे का दावा है कि जिस जमीन पर ये दुकानें हैं, वो उनकी है। सरकारी जमीन पर अवैध कब्जा है। जिसे कोर्ट के आदेश पर इसे खाली कराने के लिए टीम गई थी।
वहीं, दुकानदारों का कहना था कि जब इस मामले में 24 फरवरी को कोर्ट में सुनवाई होनी है तो उससे पहले टीम कैसे पहुंच गई? इसी के विरोध में गुरुवार को टीम के सामने ही अनिल साह ने खुद को आग लगा ली थी। साथ ही उन्हें बचाने के चक्कर में बड़े भाई अजित समेत 3 लोग घायल हो गए थे।
8 साल के मासूम को पता नहीं, पिता के साथ क्या हुआ
अनिल कुमार की शादी साल 2013 में हुई थी। उनकी मां आरती देवी का देहांत पूर्व में हो चुका है। अनिल कुमार की मौत के बाद 8 साल के बेटे आयांश कुमार को यह पता नहीं है कि आखिर उनके पिता अब इस दुनिया में नहीं रहे। हर दिन की तरह गुरुवार को भी अनिल कुमार अपने 4 वर्ष के बेटे आयांश कुमार को स्कूल पहुंचाने के बाद सीधे दुकान पहुंचे थे। लोगों के बीच रोते बिलखते देख वह यह समझ नहीं पा रहा है कि आखिर उनके पिता को क्या हुआ है। घटना के बाद पूरे मोहल्ले में मातमी सन्नाटा पसरा है।